हर घंटे 1500 चालू टिकट, कैसे फेल हो गया क्राउड मैनेजमेंट? नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर मची भगदड़ के 5 बड़े कारण


भगदड़ हादसे की एक तस्वीर.
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन में शनिवार रात पौने 9 बजे मची भगदड़ (New Delhi Railway Station Stampede) में 18 यात्रियों ने अपनी जान गंवा दी. जबकि, 10 लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं. बताया जा रहा है कि ज्यादातर लोग महाकुंभ (Mahakumbh Prayagraj) जा रहे थे. इस कारण वहां जरूरत से ज्यादा भीड़ हो गई थी. फिर उसी के बाद भगदड़ मची और रेलवे स्टेशन में चीख पुकार मच गई. इसके पीछे 5 लापरवाहियां सामने आई हैं.
सबसे पहली लापरवाही देखने को मिली रेलवे की तरफ से. पुलिस उपायुक्त (रेलवे) ने आधिकारिक बयान में बताया- रेलवे द्वारा हर घंटे 1,500 सामान्य टिकट बेचे जा रहे थे, जिसके कारण स्टेशन पर भीड़ बढ़ गई और स्थिति बेकाबू हो गई. प्लेटफार्म नंबर 14 और प्लेटफार्म नंबर 16 के पास एस्केलेटर के पास भगदड़ मच गई. देखा जाए तो टिकट जरूरत से ज्यादा बेचे जा रहे थे. अगर इतनी संख्या में टिकट न बेचे जाते तो शायद इतनी भीड़ प्लेटफार्म पर एकत्रित न होती.
लापरवाही का दूसरा कारण था बिना टिकट यात्रा करने वालों की भीड़. अमूमन कई यात्री बिना टिकट रेल यात्रा करते ही हैं. ऐसे में यहां भी ये आलम देखने को मिला. चश्मदीदों की मानें तो कई ऐसे यात्री थे जो बिना टिकट ही ट्रेनों में चढ़ने के लिए आ पहुंचे थे. उन्हें लगा कि भीड़ में कहां कोई टिकट चेक कर पाएगा.
ये भी पढ़ें
कई चश्मदीदों ने शिकायत की कि उनके पास कंफर्म टिकट था, लेकिन वे ट्रेन में नहीं बैठ सके. बिना टिकट वाले या जनरल टिकट वाले लोगों ने ट्रेन के दरवाजों पर भीड़ कर रखी थी. भीड़ में कई यात्रियों के सामान भी चोरी हो गए. जनरल और स्लीपर छोड़िए, एसी कोचों में भी पैर रखने की जगह नहीं थी. जिन यात्रियों के पास कंफर्म टिकट था, वे भी नीचे उतर गए, क्योंकि कोच के अंदर भारी भीड़ होने के कारण दम घुट रहा था.
कैसे शुरू हुई धक्का-मुक्की
तीसरा कारण था कुछ लोगों द्वारा की गई धक्का-मुक्की. सूत्रों के मुताबिक, स्वतंत्रता सेनानी एक्सप्रेस और भुबनेश्वर एक्सप्रेस ट्रेन लेट चल रही थी. जिसके चलते उनमें जाने वाले यात्री भी प्लेटफार्म नंबर 12-13 पर इंतजार में खड़े थे. इसके चलते प्लेटफार्म से लेकर सीढ़ियों पर यात्रियों का सैलाब उमड़ा हुआ था. रात करीब साढ़े नौ बजे के आसपास प्रयागराज एक्सप्रेस प्लेटफॉर्म नंबर 15 पर पहुंची. उसमें घुसने के लिए कुछ लोगों ने धक्का-मुक्की शुरू की. बस फिर क्या था, इस धक्का-मुक्की के चलते सीढ़ियों पर खड़े हुए काफी लोग नीचे गिर गए.
मैनेजमेंट में रही खामी
चौथा कारण था रेलवे मेनेजमेंट का सही से काम न करना. बताया जा रहा है कि जब भगदड़ मची तो वहां मौजूद पुलिसकर्मी और सुरक्षाकर्मी सही से भीड़ को मैनेज नहीं कर पाए. इस कारण हादसे ने बड़ा रूप ले लिया.
समय पर नहीं मिली मदद
पांचवां कारण था समय पर मदद का न मिल पाना. बताया जा रहा है कि भगदड़ करीब एक घंटे तक मची रही. लेकिन एनडीआरफ की टीमों को वहां तक पहुंचने में वक्त लग गया.