UP: नाबालिग के हाथ में स्टेयरिंग तो नपेंगे गाड़ी मालिक, लगेगा भारी जुर्माना, पहुंचेंगे जेल | UP MV Act prevent road accidents amendment ban on minor driving punishment vehicle owner underage driving


अंडरएज ड्राइविंग
सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने एमवी एक्ट (मोटर व्हीकल एक्ट) के प्रावधानों को कड़ाई से लागू करने का फैसला किया है. इसमें भी खासतौर पर नाबालिग के गाड़ी चलाने पर सख्ती बरतने के आदेश दिए गए हैं. इस संबंध में मंगलवार को हाई लेबल कमेटी की मीटिंग हुई. इसमें राज्य के सभी आरटीओ, एआरटीओ, आरएम और एआरएम के साथ पुलिस की जिम्मेदारी और जवाबदेही तय की गई है.
यूपी के परिवहन आयुक्त ने अपने आदेश में साफ तौर पर कहा है कि राज्य के सीमाओं के अंदर 18 साल से कम उम्र के बच्चों को किसी भी हाल में वाहन चलाने की अनुमति नहीं दी जा सकती. जारी आदेश में परिवहन आयुक्त ने कहा कि राज्य की पुलिस के साथ ही सभी परिवहन अधिकारी अपने अपने क्षेत्र में यह सुनिश्चित करेंगे कि उनके इलाके में कोई नाबालिग वाहन तो नहीं चला रहा है. यदि ऐसा होता है तो सबसे पहले उस वाहन के मालिक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जाएगा.
3 साल की होगी जेेल
उसकी गिरफ्तारी होगी और 25 हजार रुपये का जुर्माना और तीन साल की जेल होगी. परिवहन आयुक्त ने अपने आदेश में कहा है कि सड़कों पर होने वाली दुर्घटनाओं में सबसे ज्यादा मौतें 18 साल से कम आयु के बच्चों की होती है. उन्होंने अपने आदेश में इन बच्चों की जीवन रक्षा के लिए एमवी एक्ट के प्रावधानों को कड़ाई से लागू करने की वकालत की है. इसमें उन्होंने कहा है कि किसी भी नाबालिग को वाहन चलाने से रोका जाए, नाबालिग को किसी सार्वजनिक स्थान पर वाहन चलाने पर रोक लगे.
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16 साल की उम्र में 50 सीसी का लाइसेंस
इस व्यवस्था के क्रियान्वयन के लिए उन्होंने नाबालिग से गाड़ी चलवाने पर वाहन मालिक के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने, जुर्माना लगाने और जेल भेजने के आदेश दिए हैं. हालांकि अपने आदेश में परिवहन आयुक्त ने यह व्यवस्था दी है कि 16 साल उम्र के नाबालिग वैध लाइसेंस के साथ 50 सीसीसीसी से कम क्षमता वाली बाइक चला सकेंगे. इससे ज्यादा पॉवर वाली बाइक चलाने की अनुमति नहीं दी जाएगी. 16 साल की उम्र के नाबालिग को मिलने वाला लाइसेंस भी इतनी क्षमता की बाइक के लिए होगा.
नहीं मिलेगी जमानत
पुलिस अधिकारियों के मुताबिक नाबालिग से बाइक या कार चलवाने पर वाहन मालिक के खिलाफ कठोर कार्रवाई के प्रावधान हैं. इन प्रावधानों को कड़ाई से लागू करने पर वाहन मालिक की गिरफ्तारी तो होगी ही, तत्काल जमानत भी नहीं मिलेगी. ऐसे हालात में वाहन मालिक को गिरफ्तारी के बाद जेल जाना अनिवार्य हो गया है. इसी प्रकार विशेष परिस्थिति में वाहन को जब्त करने के भी प्रावधान किए गए हैं.